अजय देवगन को कोर्ट से राहत, अजमेर कंज्यूमर कोर्ट ने 2019 का मामला किया खारिज
Ajay Devgn got relief from court

काफी दिनों पहले फिल्म ‘दे दे प्यार दे’ को लेकर अजय देवगन के ऊपर अजमेर कंज्यूमर कोर्ट में एक केस फैले किया गया था जिसे अजमेर के ही रहने वाले तरुण अग्रवाल ने 2019 में फाइल किया था तो अब अजमेर कंज्यूमर कोर्ट से अजय देवगन को बहुत बड़ी राहत मिली है और कंज्यूमर कोर्ट ने इस मामले को हटाए जाने का आदेश दिया है। आइये जानते हैं कि आखिर मामला क्या था।
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फिल्म के पोस्टर को लेकर था बबाल
दरअसल ये मामला जब शुरू हुआ जब अजमेर के रहने वाले तरुण अग्रवाल ने अजमेर कंज्यूमर कोर्ट से शिकायत की,ये शिकायत फिल्म ‘दे दे प्यार दे’ के पोस्टर को लेकर थी कि पोस्टर में जो स्टंट सीन दिखाया गया है वह तरुण अग्रवाल को जब वह फिल्म देखने थियेटर में गए तो कहीं भी नहीं मिला इस तरह उनके साथ धोखा हुआ है और यह ठगी का मामला है। यह केस 2019 में दायर किया गया था।

मांग की थी साढे चार लाख रुपए की
इस केस में तरुण अग्रवाल को अजय देवगन और माया मंदिर सिनेमा को गलत स्टंट सीन पोस्टर में दिखाकर गलत ढंग से बिजनेस करके उन्हें थियेटर तक आने के लिए मज़बूर किया लेकिन पोस्टर वाला स्टंट सीन पूरी फिल्म में कहीं नहीं था जिससे उन्हें मानसिक क्षति पहुंची और इसके लिए उन्होंने कोर्ट से 4 लाख 51 हज़ार रुपए और साथ ही खर्चे के 11 हज़ार रुपए कोर्ट से दिलाने की मांग की।

कोर्ट ने अजय देवगन को माना निर्दोष
कोर्ट ने अपना फैसला सुनाते हुए कहा कि इसमें अजय देवगन का कहीं से भी कोई दोष नहीं है क्योंकि वह एक एक्टर हैं और पोस्टर में कौन सा सीन दिखाना है या किसे दिखाना है इससे उनका कोई भी मतलब नहीं है इसलिए अजय देवगन का नाम इस केस से तुरंत हटाया जाए उन पर किसी तरह का कोई भी केस नहीं बनता है।

दोस्तों, आप इस केस लो लेकर क्या सोचते हैं इसमें क्या अजय देवगन का कोई दोष है या नहीं कमेंट में हमें ज़रूर बताइयेगा आपके कमैंट्स का हमें इंतज़ार रहेगा। धन्यवाद,